उत्तराखंड में हेमवती नंदन बहुगुणा गढ़वाल केंद्रीय विश्वविद्यालय ने छात्र विरोध के चलते शुल्क बढ़ोतरी का फैसला वापस ले लिया है। विवि ने यह भी तय किया है कि जिन छात्रों ने बढ़ी हुई फीस जमा की है, वह पूरी लौटाई जाएगी।
इस साल गढ़वाल विवि ने एफिलिएशन और रजिस्ट्रेशन के नाम पर 1200 रुपये फीस लागू कर दी थी। छात्रों ने शुल्क जमा तो कराया लेकिन इसका भारी विरोध शुरू हो गया। देहरादून में डीएवी, डीबीएस, एमकेपी, एसजीआरआर में एनएसयूआई, एबीवीपी, सक्षम ग्रुप, एसएफआई ने इस पर भारी विरोध किया।
डीएवी में तो छात्रों ने नौ घंटे तक प्रिंसिपल को बंधक बनाए रखा। मंगलवार को गढ़वाल विवि के कुलसचिव प्रो. एके झा ने शुल्क बढ़ोतरी का निर्णय वापस लेने का आदेश जारी कर दिया।
अब जितने भी अशासकीय कॉलेज हैं, वहां किसी भी सरकारी कोर्स में यह फीस लागू नहीं होगी। हालांकि अशासकीय कॉलेजों में पढ़ने वाले सेल्फ फाइनेंस के छात्रों को शुल्क देना होगा। गढ़वाल विवि की ओर से कॉलेजवार बढ़ा हुआ श्ुाल्क दस दिसंबर तक लौटा दिया जाएगा। इसके लिए कॉलेज को ऐसे छात्रों की लिस्ट विवि को भेजनी होगी।